मुलाकात...बाकी जो है
हर लफ्ज़ का मतलब अब जानने लगा हूँ मै... मेरी ज़िंदगी ने कम्से कम इतना तो सिखाया है, मुझे... हर वक़्त जो सवाल था मेरे दिल को खरोचता उस सवाल को जाना तो है, मैने. अब बस उसके जवाब की तलाश बाकी है, मेरी ज़िंदगी मे जिसका ये ज़लज़ला क़ाबिज़ है ख्वहिश है मेरी मौत से की आए ना मुझे मेरे मुक़द्दर के पहले, मेरी मुहब्बत से, मेरी मुलाक़ात अभी बाकी जो है... #आज़ादकलम